आकाश आनंद लोकसभा चुनाव में अपने भाषणों के वजह से चर्चा में आए थे, उनके भाषणों में संविधान की अक्सर चर्चा देखने को मिलती है, उन्होंने मंच से दलित-बहुजनों के आवाज़ को बुलंद किया, उन्होंने देश में चल रहे दलितों के खिलाफ आवाज़ उठाया और उनके दयनीय स्थिति के लिए बीजेपी एवं कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया. हाल ही में एएनआई को दिए हुए एक इंटरव्यू में उन्हने कहा है की जब वह छोटे थे तो लोग क्लास में उन्हें चमार कह कर चिढाते थे. उन्होंने एक मंच से बीजेपी को आतंकवादी पार्टी कह कर बुलाया उसके बाद उन पर एफआईआर भी हुआ. तबसे आकाश आनंद राजनीतिक मंच पर नही दिखाई दे रहे है, उसके बाद आज बीएसपी सुप्रीमो ने टवीट कर यह जानकारी दी की आकाश आनंद को उत्तराधिकारी एवं राष्ट्रीय कोर्डिनेटर के पोस्ट से हटाया जा रहा है, मायावती ने यह भी लिखा है की आकाश आनंद के परीपक्व होने तक यह निर्णय लिया गया है.
इस खबर के बाद सोशल मीडिया पर अनेक तरह की खबरे चल रही है, उनमे से एक है की बीएसपी, बीजेपी की बी टीम है, और मायावती ने बीजेपी के दबाब में आकर यह कदम उठाया है, वही बीएसपी के समर्थको का कहना है की मायावती ने यह कदम उठाकर देश को सन्देश दिया है की उनकी पार्टी वंशानुगत पार्टी नही है, और जो भी निर्णय लिया गया है, पार्टी के हित में लिया गया है.